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Friday, June 26, 2015

कुंवारी बुर की चुदाई

कुंवारी बुर की चुदाई

इसके बाद वह मेरी दोनों टाँगे फैला कर उनके बीच में आ गया। अब मेरी चूत उसके लण्ड के सामने थी।
पहले तो वह लण्ड का सुपारा मेरी चूत के मुँह पर रगड़ता रहा, मुझे बहुत मज़ा आ रहा था और मैं चूतड उचका उचका कर मज़ा ले रही थी, फ़िर उसने मेरी कमर पकड़ ली और एक तेज़ झटका मारा तो लण्ड मेरी चूत को फाड़ता हुआ अन्दर घुसा।एक तेज़ चीख मेरे मुँह से और गाण्ड से तेज़ पुर्र्र की आवाज निकल गई।
मुझे लगा कि मेरी चूत में किसी ने चाकू घुसा दिया हो ! मैं तड़प उठी लेकिन उसके पकड़ से अपने आप छुड़ा न सकी। एक शेर की तरह उसने मुझे जकड़े रखा।जब मुझे थोड़ा आराम मिला तो वह मेरे मम्मे चूसने लगा। धीरे धीरे मुझे मज़ा आने लगा और वो लण्ड को आगे-पीछे करने लगा।

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